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Uttarakhand: ART सुविधा से 1938 निसंतान दंपतियों को हुआ वरदान, स्वास्थ्य विभाग ने रिपोर्ट की है

Uttarakhand: ART सुविधा से 1938 निसंतान दंपतियों को हुआ वरदान, स्वास्थ्य विभाग ने रिपोर्ट की है

Uttarakhand: प्रदेश में ART Act-2021 और सरोगेसी Act-2021 के बेहतर परिणाम सामने आ रहे हैं। दोनों एक्टों के लागू होने के बाद राज्य में 1938 दंपतियों ने सहायक प्रजनन प्रौद्योगिकी (ART) के विकल्प का लाभ उठाया है। राज्य में संतान सुख पाने में असमर्थ विवाहित दंपति व महिलाओं की कुछ श्रेणियों (एकल और अविवाहित) के लिए ART वरदान साबित हो रहा है।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सरोगेसी Act व ART Act-2021 लागू होने से स्वास्थ्य विभाग से लाभार्थियों की रिपोर्ट मांगी गई थी। इस पर विभाग ने दो वर्षों के आंकड़े केंद्र सरकार को भेज दिए हैं। प्रदेश में निसंतान दंपतियों के चेहरों पर मुस्कान लौट रही है। वर्ष 2021 में देश के साथ प्रदेश में ART और सरोगेसी Act लागू हुआ। जिसके तहत प्रदेश में पंजीकृत 22 ART क्लीनिकों के माध्यम से सूबे के 1938 दंपतियों ने सहायक प्रजनन प्रौद्योगिकी (ART ) के विकल्प का लाभ सफलतापूर्वक उठाया है।

726 दंपतियों ने इंदिरा IVF में ART का लाभ लिया

इसमें सर्वाधिक 726 दंपतियों ने इंदिरा IVF में ART का लाभ लिया। इसके अलावा नोवा IVF फर्टिलिटी में 168, केयर IVF यूनिट में 165, फुटेला फर्टिलिटी सेंटर 137, उत्तरांचल टेस्ट ट्यूब बेबी सेंटर 103, जेनेसिस IVF 83, मॉर्फिअस प्रसाद इंटरनेशनल IVF सेंटर 68, सुभारती हॉस्पिटल एंड IVF सेंटर 66, वृंदा फेमिकेयर फर्टिलिटी LLP 57, वैश्य नर्सिंग होम ART क्लीनिक में 54, श्री महंत इंद्रेश हॉस्पिटल IVF सेंटर 53, निदान फर्टिलिटी क्लीनिक 45, ऑली हास्पिटल फर्टिलिटी रिसर्च एंड डायग्नोस्टिक सेंटर 42, आशीर्वाद हेल्थकेयर एवं फर्टिलिटी सेंटर 41, IVF सेंटर एम्स ऋषिकेश 28, लूथरा नर्सिंग होम 24, रेवती नर्सिंग होम 22, काला फर्टिलिटी में तीन और मदर केयर सेंटर में दो दंपतियों ने ART का लाभ लिया।

केंद्र सरकार ने हाल ही में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से उन दंपतियों और एकल अविवाहित महिलाओं का आंकड़ा मांगा है। जिससे सरकार कानून के कामकाज का आंकलन कर सके। प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग ने राज्य में ART का लाभ उठाने वाले सभी 1938 दंपतियों की जानकारी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को भेज दी है।

राज्य में सरोगेसी Act व ART Act के ठोस क्रियान्वयन का नतीजा है कि प्रदेश में पंजीकृत क्लीनिकों के माध्यम से अब तक 1938 दंपतियों ने ART का सफलतापूर्वक लाभ उठाया है। इन एक्ट के तहत केवल संतान सुख पाने में असमर्थ विवाहित दंपती और महिलाओं की कुछ श्रेणियों (एकल और अविवाहित) को ही ART और सरोगेसी का लाभ उठाने की अनुमति है।

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